जुबिली न्यूज डेस्क
नेतृत्व संकट और पार्टी में गुटबाजी से जुझ रही कांग्रेस को फिर से सत्ता के शिखर पर पहुंचाने के लिए पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी और महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा ने कमर कस ली है। राहुल गांधी पिछले कई दिनों से लगातार दक्षिण भारत में दौरे कर रहे हैं। केरल, तमिलनाडू और पुदुचेरी में राहुल लगातार जनता के बीच जाकर पार्टी का प्रचार कर रहे हैं।
वहीं, दूसरी ओर उत्तर भारत में कांग्रेस को संभालने का बीड़ा प्रियंका ने उठाया है। उत्तर प्रदेश में काफी एक्टिव प्रियंका बिहार चुनाव के दौरान भी पार्टी के लिए रणनीति बनाने में काफी मदद की थी। हालांकि वे पश्चिम बंगाल चुनाव से अभी तक दूर है लेकिन असम उन्होंने पार्टी के चुनाव प्रचार की कमान संभाल ली है।
दो दिनों के दौरे पर असम पहुंची प्रियंका गांधी पहले दिन कामख्या देवी के दर्शन करने पहुंची। वही, दूसरे दिन पार्टी महासचिव असम की पहचान कहे जाने वाले चाय बागनों में पहुंच गई। प्रियंका ने जनता के बीच जाकर न सिर्फ बात की, बल्कि उनके साथ चाय के बागानों में भी हाथ आजमाया।
पल्लव – पल्लव पर हरियाली फूटी, लहरी डाली-डाली,
बोली कोयल, कलि की प्याली मधु भरकर तरु पर उफनाई।~सूर्यकांत त्रिपाठी 'निराला' pic.twitter.com/7hTJzbnrrM
— Ajay Kumar Lallu (@AjayLalluINC) March 2, 2021
प्रियंका गांधी ने मंगलवार को महिला चाय बागान मजदूरों से मुलाकात की। यहां भी प्रियंका गांधी का अलग अंदाज दिखा, वो यहां पर टोकरी लेकर मजदूरों की तरह चाय की पत्तियां तोड़ती हुईं नज़र आईं। असम में चाय बागान के मजदूरों का मुद्दा बड़ा रहता है, ऐसे में प्रियंका गांधी यहां पर पहुंची हैं।
#WATCH Assam: Congress General Secretary Priyanka Gandhi Vadra plucks tea leaves with other workers at Sadhuru tea garden, Biswanath. pic.twitter.com/8jpQD8IHma
— ANI (@ANI) March 2, 2021
प्रियंका गांधी ने इस दौरान ट्वीट भी किया, उन्होंने लिखा असम की बहुरंगी संस्कृति ही असम की शक्ति है।
असम की बहुरंगी संस्कृति ही असम की शक्ति है। असम यात्रा के दौरान लोगों से मिलकर महसूस किया कि लोग इस बहुरंगी संस्कृति को बचाने के लिए वे पूरी प्रतिबद्धता से तैयार हैं।
अपनी संस्कृति और विरासत बचाने के लिए असम के लोगों की लड़ाई में कांग्रेस पार्टी उनके साथ है।
জয় আই অসম pic.twitter.com/Jqgzxof61a
— Priyanka Gandhi Vadra (@priyankagandhi) March 1, 2021
असम यात्रा के दौरान लोगों से मिलकर महसूस किया कि लोग इस बहुरंगी संस्कृति को बचाने के लिए वे पूरी प्रतिबद्धता से तैयार हैं। अपनी संस्कृति और विरासत बचाने के लिए असम के लोगों की लड़ाई में कांग्रेसी पार्टी उनके साथ है।