जुबिली न्यूज डेस्क
देश के कई राज्यों में दूसरे दलों को तोड़कर अपने पार्टी को मजबूत करने में भाजपा जुटी हुई है। भाजपा की इस काम की वजह से पार्टी के भीतर नेताओं में असंतोष की भावना बढ़ती जा रही है। पिछले दिनों पश्चिम बंगाल में कई भाजपा नेताओं ने इसका विरोध किया था। बावजूद इसके भाजपा दूसरे दलों को तोडऩे में लगी हुई है।
राजस्थान भाजपा के भीतर भी ऐसा ही कुछ दिख रहा है। जिस तरह के हालात दिख रहे हैं उससे तो ऐसा ही लग रहा है कि पार्टी के भीतर सब ठीक नहीं है। राजस्थान में कांग्रेस को मात देने की कोशिश में जुटी भाजपा खुद गुटबाजी की शिकार होती दिख रही है।
दरअसल राजस्थान में कांग्रेस ही नहीं बल्कि भाजपा के भीतर भी गुटबाजी सामने आ रही है। राज्य में भाजपा के अध्यक्ष सतीश पूनिया ने बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा से मुलाकात की। बाद में सोशल मीडिया पर प्रदेश कार्यकारिणी और जिला कार्यकारिणी की सूचियां वायरल होने लगीं।
इस मामले में भाजपा के अध्यक्ष सतीश पूनिया ने कहा कि भाजपा में ऐसी कोई परंपरा नहीं रही है कि समर्थक अपनी टीम घोषित कर दें। उन्होंने कहा, ‘वसुंधरा समर्थकों ने अपनी टीम बना ली है। इस मामले में केंद्रीय नेतृत्व को खबर है। हमें जैसा आदेश मिलेगा, वैसा ही किया जाएगा।’
उन्होंने कहा, ‘वसुंधरा समर्थकों की तरफ से जारी सूची में संगठन के लोग नहीं हैं। इसमें वे लोग हैं जिन्हें कोई पहचानता भी नहीं है। हालांकि कुछ पूर्व विधायक भी इस लिस्ट में शामिल हैं।’
पुनिया ने कहा किइन सूचियों से संगठन को कोई फर्क नहीं पड़ता है। वहीं वसुंधरा समर्थक राजस्थान मंच का दावा है कि इन सूचियों को जारी करने से बीजेपी को ही फायदा होने जा रहा है। राजस्थान के प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि इसके जरिए वह वसुंधरा सरकार के कामकाज को जनता के बीच पहुंचा रहे हैं।
राजस्थान की सियासी हलचल का अंदाजा तभी लग गया था जब वसुंधरा राजे को छोड़कर वरिष्ठ भाजपा नेताओं को दिल्ली बुलाया गया।
सतीश पूनिया के साथ गुलाब चंद कटारिया भी भाजपा राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से मिलने पहुंचे थे। उपनेता प्रतिपक्ष राजेंद्र राठौर भी दिल्ली पहुंचे थे। माना जा रहा है कि केंद्रीय नेतृत्व के इस फैसले से वसुंधरा समर्थकों में भी रोष है इसीलिए मुलाकात के तुरुंत बाद सूचियां सोशल मीडिया पर तैरने लगीं।