जुबिली स्पेशल डेस्क
नई दिल्ली। किसानों का आंदोलन खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है। किसान और सरकार के बीच अब तक कई बार बातचीत हुई लेकिन इसका नतीजा अभी तक कुछ नहीं निकला है।
सरकार को उम्मीद है कि दो से चार दिन में इसका हल कोई न कोई निकल आयेगा लेकिन किसान पीछे हटने को तैयार नहीं है।
उधर किसानों ने दिल्ली की प्रमुख सीमाओं पर आंदोलन को और तेज कर दिया। संयुक्त किसान मोर्चा समन्वय समिति रविवार को एक बैठक की है। इस बैठक में तय किया गया है कि 21 दिसंबर से 24 घंटे रिले हंगर स्ट्राइक शुरू की जाएगी।
इसके साथ ही किसानों का कहना है कि प्रधानमंत्री 27 दिसंबर को मन की बात करेंगे। उन्होंने कहा कि पूरे देश ने जिस तरह थाली बजाई थी। उसी तरह देशवासियों से अपील है कि इस दिन जितनी देर तक मन की बात चले उतनी देर अपने-अपने घरों पर थालियां बजाकर हमें समर्थन दें।
जानकारी के मुताबिक किसानों से रिले हंगर स्ट्राइक में शामिल होने की अपील की गई है। देशभर में जहां भी धरना चल रहा है वहां पर किसानों से ऐसा करने की अपील की गई है।
हालांकि शुरुआत में 11 लोगों के साथ इसकी शुरुआत होगी। इसके साथ ही किसान दिवस के दिन यानी 23 दिसम्बर को देशवासियों से एक समय का खाना त्यागने की अपील भी की जा रही है।
चौधरी चरण सिंह के जन्मदिन पर लोगों से अपील की है कि वो एक वक्त का खाना छोड़कर किसानों के समर्थन में आगे आये।
इतना ही नहीं पूरे विश्व में जहां-जहां भारत के लोग है उनसे भी इसी तरह की अपील की गई है। संयुक्त किसान मोर्चा समन्वय समिति की माने तो 26 दिसंबर को एनडीए के साथी संगठनों को एक विशेष संदेश दिया जायेगा ताकि ये लोग भी केंद्र सरकार से अपील करें कि सरकार इन कानूनों को वापस ले।
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बता दें कि देश का अन्नदाता इस समय सरकार से काफी नाराज है। कृषि कानूनों के खिलाफ चल रहा किसानों का आंदोलन अब और तेज हो गया है।
किसानों ने पहले भारत बंद करवाया और फिर भूख हड़ताल कर मोदी सरकार को कड़ा संदेश दिया था।सरकार चाहती है किसान आंदोलन को खत्म करे लेकिन उनकी कोशिशों पर पानी फिरता नजर आ रहा है। अब किसानों ने सोमवार से रिले हंगर स्ट्राइक करने का ऐलान किया है।
इतना ही नहीं 23 को एक समय का खाना छोडऩे की अपील की है। अब देखना होगा कि किसानों के इस कदम से सरकार क्या कदम उठाती है।
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