स्पेशल डेस्क
लखनऊ। देश में कोरोना वायरस कम होने का नाम नहीं ले रहे हैं। महाराष्ट्र से लेकर यूपी में कोरोना लगातार खतरनाक होता जा रहा है। बात अगर उत्तर प्रदेश की जाये तो यहां पर कोरोना को काबू करने के लिए सूबे के मुखिया योगी लगातार योजना बना रहे हैं।
इसका नतीजा यह रहा कि कोरोना पहले के मुकाबले थोड़ा कमजोर हुआ है और अब तक कोरोना से 95 लोगों की मौत हुई लेकिन इसके उलट 20 दिनों में उत्तर प्रदेश में 70 लोगों की सडक़ दुघर्टना का शिकार हुए जबकि 200 लोग घायल है।
प्रवासी मजदूरों, कामगारों से जुड़े लोग अपने घर लौटने के लिए पैदल चलने पर मजबूर है लेकिन इस दौरान उनकी सडक़ हादसे में मौत भी हो रही है।
हालांकि इस तरह की घटना से सीएम योगी भी परेशान है और बार-बार अपील करते नजर आ रहे हैं। मुख्यमंत्री योगी ने साफ कहा कि अगर कोई ट्रक या गैर सवारी वाहन मजदूरों या कामगारों को बिठाता पाया जाता है तो उसके वाहन मालिक और ड्राइवर के खिलाफ केस दर्ज किया जाएगा लेकिन उनकी बात को कोई मान नहीं रहा है। हर दिन बेबस और लाचार मजदूरों की तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल हो रही है।
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दूसरी ओर लॉकडाउन के दौरान अब तक पूरे देश में 10 दिनों में 99 मजदूरों की अलग-अलग हादसों में मौत की नींद सो चुके हैं।
यूपी में क्या है आंकड़े
- कोरोना वायरस से पहली मौत यूपी में 30 मार्च को हुई थी। इसके बाद अब तक कोरोना ने यूपी में 95 लोगों को अपना शिकार बनाया है।
- दूसरी ओर इस दौरान सडक़ हादसों में कई बेबस लोगों की जान जा चुकी है। मुजफ्फरनगर, बाराबंकी के बाद अब औरैया सडक़ हादसे हुए है और कई लोग मौत की नींद सो चुके हैं।
- औरैया सडक़ हादसे में ही 25 लोगों की मौत हो गई
- इससे पहले मुजफ्फरनगर में 6, बाराबंकी में 5, जालौन, उन्नाव, कानपुर देहात, प्रयागराज, महाराजगंज, मुरादाबाद में 2-2 और झांसी में एक मौत हो चुकी है।
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