न्यूज डेस्क
देश में बच्चों से यौन शोषण के मामले में सबसे खराब स्थिति उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश की है। पूरे देश में इस वर्ष 1 जनवरी से 30 जून तक बच्चों से दुष्कर्म व यौन शोषण के 24,212 केस आए हैं। उत्तरप्रदेश में इस दौरान सबसे अधिक 3,457 केस दर्ज हुए, जबकि 2,389 मामलों के साथ मध्यप्रदेश दूसरे नंबर पर रहा।
इस मामले पर सुप्रीम कोर्ट ने खुद ही संज्ञान लेते हुए देश भर के सभी राज्यों के हाईकोर्ट से जिलेभर की रिपोर्ट मांगी है। रिपोर्ट मिलने के बाद उसका विश्लेषण किया जाएगा और फिर कोर्ट इन मामलों को निपटाने के लिए राज्यों को दिशा-निर्देश जारी करेगा।
कोर्ट ने बच्चों से ज्यादती के कुल मामले और और उन मामलों के अदालतों में लंबित पड़ी रहने की अवधि का भी ब्योरा मांगा है। सुप्रीम कोर्ट ने सभी हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार से यह ब्योरा 10 दिन में पेश करने को कहा है। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में अगली सुनवाई 25 जुलाई को होनी है।
कोर्ट ने वर्तमान कैलेंडर वर्ष की पहली छमाही का आंकड़ा मांगा था। बीते सोमवार को सुनवाई के दौरान चीफ जस्टिस रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली बेंच ने वर्ष 2018 में बच्चों से ज्यादती के मामलों का पूरा डेटा पेश करने के निर्देश दिए।