न्यूज डेस्क
हम निश्चिंत भाव से घूमते-फिरते हैं, रात में आराम से सोते हैं तो उसके पीछे पुलिस महकमा है। पुलिस की जिम्मेदारी हमें सुरक्षा देती है तो लापरवाही परेशानी बढ़ा देती है। अक्सर पुलिस की लापरवाही की वजह से कितनी बड़ी-बड़ी घटनाएं हो जाती हैं। फिलहाल बिहार में लापरवाही की वजह से एक साथ 66 पुलिसकर्मियों पर एफआईआर दर्ज की कई है। इसमें तीन डीएसपी और 50 पुलिस इंस्पेक्टर शामिल है।
न्यू इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, यह एफआईआर वैशाली जिले के हाजीपुर पुलिस थाने में सोमवार शाम को दर्ज की गई। पुलिस सूत्रों के मुताबिक, वैशाली के एसपी एमएस ढिल्लन ने हाजीपुर के एसएचओ को इन पुलिस अधिकारियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने के आदेश दिए। आरोप है कि इन अधिकारियों ने जिले से तबादला होने के सालों बाद भी लंबित मामले अन्य अधिकारियों को नहीं सौंपे थे।
तबादले के कई सालों बाद भी नहीं सौंपे मामले
तबादले के कई सालों बाद भी अन्य पुलिसकर्मियों को मामले नहीं सौंपे जाने की वजह से 66 पुलिसकर्मियों के खिलाफ आईपीसी की धारा 634 और 409 के तहत एफआईआर दर्ज की गई। पुलिस मुख्यालय ने बताया कि दूसरे जिलों को भी इस तरह की कार्रवाई करने का निर्देश दिया गया है।
बिहार के डीजीपी गुप्तेश्वर पांडेय के आदेश पर वैशाली में आपराधिक घटनाओं, लंबित मामलों की समीक्षा करने के लिए लोगों का फीडबैक लिया जा रहा है। इसी दौरान बड़े स्तर पर मामले लंबित पाए गए, जिसके बाद यह कार्रवाई हुई।
इन सभी आरोपी पुलिस अधिकारियों का काफी पहले जिले से अन्य स्थानों पर तबादला कर दिया गया था। इनमें से तीन आरोपी डीएसपी अब सीबीआई में हैं।
एफआईआर में जिन आरोपी डीएसपी का नाम है, उनमें नागेंद्र प्रसाद फिलहाल सीबीआई में हैं। पंकज रावत बेतिया में एसडीपीओ सदर हैं और अशोक प्रसाद पटना में डीएसपी हैं।
इन पुलिस अधिकारियों को पहले नोटिस जारी कर कहा गया था कि वे तबादले से पहले वे जिन आपराधिक मामलों की जांच कर रहे हैं, उन्हें दूसरे अधिकारियों को सौंप दे लेकिन इन आरोपी अधिकारियों ने ऐसा नहीं किया।
सदर पुलिस स्टेशन, हाजीपुर के एसएचओ रोहन कुमार ने 66 पुलिसकर्मियों पर एक साथ एफआईआर दर्ज करने की पुष्टि की।
रोहन कुमार ने कहा, ’66 पुलिसकर्मियों पर एक साथ एफआईआर दर्ज किए जाने की बात सही। यहां से ट्रांसफर होने के बाद भी इन लोगों ने अपने केस का चार्ज संबंधित अधिकारी को नहीं सौंपा था। ये मामले पांच, सात या आठ साल पुराने हैं। इन मामलों में अभी जांच होगी, केस कोर्ट में जाएंगे फिर आगे आवश्यक कार्रवाई की जाएगी।’